फ़िल्म "वेक उप सिद "के लिए जिस तरह मशहूर निर्देशक "करण जौहर " ने मान्यवर" राज ठाकरे" से माफ़ी मांगी उसे देखकर तो ऐसा लगता हैं की राज ठाकरे हमारे देश के कानून से भी बड़े हैं ,करण जौहर की इस फ़िल्म में "मुंबई" को कई जगह "बम्बई" कहा गया हैं क्या इस बात से कुछ फर्क पड़ता हैं? सिर्फ़ इतना की राज ठाकरे जैसे लोगो की वजह से फ़िल्म को मुंबई और महाराष्ट्र में प्रर्दशित नही होने दिया जाता |
क्या मुंबई राज जी की हैं ?क्या करण ने राज से माफ़ी मांगकर नया ड्रामा तो नही किया? करण यह अच्छी तरह से जानते हैं की अपनी फ़िल्म को कैसे बेचना हैं कुछ पैसो की खातिर इस तरह की हरकत कर उन्होंने ना सिर्फ़ पब्लिसिटी बटोरी बल्कि फ़िल्म को न्यूज़ में भी ला दिया|
ऐसा ही कुछ अभी कुछ दिन पहले शाहरुख़ खान ने भी अपनी करण की ही फ़िल्म "माय नेम इज खान" के लिए भी किया था जब उन्होंने अमरीका में अपना नाम पूछे जाने पर "माय नेम इज खान "कहकर विवाद पैदा कर दिया था
शिक्षा -"बदनाम होंगे तो क्या नाम नही होगा ".......................
Tuesday, October 6, 2009
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सही कहा - "बदनाम होंगे तो क्या नाम न होगा ?"
ReplyDeleteअच्छी प्रविष्टि । आभार ।
aapka bahut bahut shukriya apna comment dene ke liye
ReplyDeletebadhiya likha hain
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